कोई भी व्यक्ति जब पहली बार जॉइंट अकाउंट के बारे में सुनता है तो उसका पहला यही सवाल होता है की जॉइंट अकाउंट क्या होता है और यह जॉइंट अकाउंट कैसे काम करता है तो आज हम इसी के बारे में बात करने वाले है।
सबसे पहले हम देखेंगे की जॉइंट अकाउंट क्या होता है और जॉइंट अकाउंट काम कैसे करता है। इसके बाद जॉइंट अकाउंट के फायदे क्या होते है और जॉइंट अकाउंट के नुकसान क्या होते है। इसके बाद हम जॉइंट अकाउंट से संबंधित सवाल जवाब भी देखेंगे।
अगर आप भी जॉइंट अकाउंट की सम्पूर्ण जानकारी प्राप्त करना चाहते है तो इस आर्टिकल के साथ जुड़े रहे। और आपको इस आर्टिकल में आपके सारे सवालों के जवाब मिल जाएंगे।
जॉइंट अकाउंट क्या होता है?
जॉइंट अकाउंट एक प्रकार का सेविंग अकाउंट ही होता है जिसे दो या दो से अधिक ग्राहक मिलकर खुलवाते है। इसे आमतौर पर करीबी रिश्तेदारों, पति पत्नी, व्यावसायिक साझेदारों या अन्य लोगो द्वारा खोला जाता है। संयुक्त (Joint) खाताधारकों को आमतौर पर खातों में जमा धन तक समान पहुंच प्राप्त होती है।
अधिकांश बैंक दो या दो से अधिक ग्राहकों को जॉइंट अकाउंट खोलने की अनुमति देते है जिससे वह दोनों अपने अपने पैसो को सुरक्षित रूप से एक ही अकाउंट में जमा करवा सके और कभी भी निकाल सके।
जॉइंट अकाउंट खोलने की प्रक्रिया सेविंग अकाउंट खोलने के सामान ही होती है। जॉइंट अकाउंट खोलते समय सभी आवेदकों का उपस्थित होना आवश्यक है और सभी के पास पर्याप्त दस्तावेज होने चाहिए।
जॉइंट अकाउंट होल्डर को जॉइंट अकाउंट की सभी सुविधाएं मिलती है जैसे सभी खाताधारक को नाम वाला डेबिट कार्ड और चेक बुक मिलती है। इसके साथ खाताधारक को इंटरनेट बैंकिंग, मोबाइल बैंकिंग और अन्य सभी सुविधाएं मिलती है।
- सीसी लिमिट क्या है
- सेविंग अकाउंट क्या है
- सैलरी अकाउंट क्या होता है
- जीरो बैलेंस अकाउंट में कितना पैसा रख सकते हैं
- बचत खाते में कितना पैसा रख सकते हैं
जॉइंट अकाउंट कैसे काम करता है?
जॉइंट अकाउंट किसी भी सेविंग अकाउंट की तरह ही काम करता है सिवाय इसके की इस खाते के दो या दो से अधिक मालिक होते है। दोनों खाते के मालिक अकाउंट को सामान रूप से इस्तेमाल कर सकते है। हालांकि यह बात इस पर भी निर्भर करती है की आपने कौनसा जॉइंट अकाउंट खुलवाया है।
जॉइंट अकाउंट स्थायी रूप से खोले जाते हैं, जैसे कि एक शादी शुदा जोड़े के लिए एक खाता जिसमें पति का वेतन जमा किया जाता है और उसकी पत्नी घर के खर्चो के लिए उसमे से पैसे निकाल सकती है।
जॉइंट अकाउंट अस्थायी रूप से भी खोला जाता है जैसे दो पक्षों के बीच एक जॉइंट अकाउंट जिसमे थोड़े समय के लिए धन को जमा किया जाता है और फिर निकाल लिया जाता है।
दो पक्षों के बीच संयुक्त रूप से रखे गए बैंक खातों का शीर्षक खाताधारकों के नाम के बीच “and” या “or” हो सकता है। यदि खाते को “and” खाते के रूप में सूचीबद्ध किया गया है, तो धन का इस्तेमाल करने के लिए दोनों पक्षों को हस्ताक्षर करना होगा। यदि यह एक “or” खाता है, तो धन के इस्तेमाल करने के लिए केवल एक पक्ष को हस्ताक्षर करना होगा।
जॉइंट सेविंग अकाउंट कितने प्रकार के होते हैं?
बैंक अपने ग्राहकों को कई प्रकार के सेविंग अकाउंट खुलवाने की सुविधाएं प्रदान करता है जिसमे ग्राहक अपना पैसा सुरक्षित रूप से जमा कर सकते है और अपनी जरुरत के अनुसार कभी भी और कही भी पैसे निकाल सकते है।
इन बैंक अकाउंट में कई प्रकार की सुविधाएं होती है जो ग्राहक की रोजमर्रा की जिंदगी में लेनदेन को सुरक्षित और आसान बना देते है। नीचे जॉइंट अकाउंट के कुछ प्रकार है जिन्हे आप देख सकते है।
Either or Survivor – अधिकांश लोग इसी जॉइंट अकाउंट को खुलवाते है। इस जॉइंट अकाउंट को 2 लोग मिलकर खुलवा सकते है। इसमें दोनों खाताधारकों के पास सामान अधिकार होता है दोनों खाताधारक अकाउंट से पैसे निकाल सकते है और किसी को भुगतान भी कर सकते है।
इसमें दोनों खाताधारक अकाउंट को सामान रूप से संचालित कर सकते है। अगर किसी कारणवश किसी एक की मृत्यु हो जाती है तो दूसरा खाताधारक अकाउंट को संचालित कर सकता है और अकाउंट से पैसे निकाल सकता है।
Anyone or Survivor – इस जॉइंट अकाउंट को 2 या 2 से अधिक लोग मिलकर खोल सकते है। इस जॉइंट अकाउंट में सभी खाताधारकों को सामान अधिकार मिलता है। इसमें कोई भी खाताधारक अकाउंट से पैसे निकाल सकता है।
इस जॉइंट अकाउंट को खुलवाने के लिए सभी आवेदकों का ब्रांच में मौजूद होना अनिवार्य है और सभी आवेदकों के पास आधार और पैन कार्ड होना चाहिए। अगर किसी भी कारणवश किसी एक खाताधारक की मृत्यु हो जाती है तो अन्य खाताधारक इस खाते को संचालित कर सकते है।
Former or Survivor – इस जॉइंट अकाउंट में पहला अकाउंट होल्डर ही खाते को संचालित कर सकता है। दूसरे अकाउंट होल्डर के पास खाते का कोई नियंत्रण नहीं होता है लेकिन जब पहले अकाउंट होल्डर की मृत्यु हो जाती है तो खाते का पूरा नियंत्रण दूसरे अकाउंट होल्डर के पास चला जाता है।
इसके लिए दूसरे अकाउंट होल्डर को अकाउंट पहले अकाउंट होल्डर का मृत्यु प्रमाण पत्र लगाना होगा। तब दूसरा अकाउंट होल्डर इस अकाउंट को संचालित कर सकता है।
Latter or Survivor – इस जॉइंट अकाउंट में दूसरे अकाउंट होल्डर को खाते का पूरा नियंत्रण मिलता है और पहले अकाउंट होल्डर को खाते का कोई नियंत्रण नहीं मिलता है।
उदाहरण के लिए अगर किसी पति और पत्नी ने मिलकर जॉइंट अकाउंट खुलवाया है और पति पहला अकाउंट होल्डर है और पत्नी दूसरी अकाउंट होल्डर है तो इस स्थिति में पत्नी के पास अकाउंट का पूरा नियंत्रण होगा और पति के पास अकाउंट का नियंत्रण नहीं होगा। अगर किसी कारणवश पत्नी की मृत्यु हो जाती है तो पति अपनी पत्नी का मृत्यु प्रमाण पत्र लगा कर जॉइंट अकाउंट का पूरा नियंत्रण ले सकता है।
Jointly – इस जॉइंट अकाउंट में दोनों अकाउंट होल्डर को खाते पर सामान अधिकार दिया जाता है लेकिन यह अधिकार दोनों अकाउंट होल्डर को एक साथ दिया जाता है अकेल अकेले नहीं।
उदाहरण के लिए अगर किसी पति और पत्नी ने मिलकर इस जॉइंट अकाउंट को खुलवाया है और उन में से किसी भी एक को अकाउंट से पैसे निकालने है तो ऐसे में उन दोनों को एक साथ ही ब्रांच में जाना होगा। और नगद निकासी फॉर्म पर दोनों को हस्ताक्षर करने होंगे। केवल इसी स्थिति में वह बैंक से पैसे निकाल सकते है।
अगर पति या पत्नी कोई भी अकेले ब्रांच में जाता है तो उसे पैसे नहीं दिए जाएंगे। इस जॉइंट अकाउंट को दोनों अकाउंट होल्डर मिलकर ही नियंत्रित कर सकते है। इसीलिए इस जॉइंट अकाउंट को jointly अकाउंट कहा जाता है।
अगर पति और पत्नी में से किसी भी एक की मृत्यु हो जाती है तो दूसरे अकाउंट होल्डर को अकाउंट में जमा पैसे मिल जाएंगे। लेकिन वह इस अकाउंट को आगे इस्तेमाल नहीं कर सकता है। दूसरे अकाउंट होल्डर को पैसे देने के बाद बैंक इस खाते को बंद कर देगा।
Jointly or Survivor – यह अकाउंट भी ऊपर बताए गए जॉइंटली अकाउंट की तरह ही है। अगर दोनों में से कोई भी एक अकाउंट होल्डर अकाउंट से पैसे निकालना चाहता है या फिर किसी का भुगतान करना चाहता है तो ऐसे में दोनों अकाउंट होल्डर के हस्ताक्षर की जरूरत होगी।
किसी एक की भी गैर मौजूदगी में एक अकाउंट में कुछ भी नहीं किया जा सकता है। इस अकाउंट में बस एक छोटा सा फर्क है की अगर किसी भी एक अकाउंट होल्डर की मृत्यु हो जाती है तो ऐसे में दूसरा अकाउंट होल्डर अकाउंट से पैसे निकाल सकता है और साथ इस इस अकाउंट को आगे संचालित भी कर सकता है।
जॉइंट अकाउंट के फायदे क्या है?
कोई भी बैंक अपने जॉइंट अकाउंट होल्डर को बहुत सारे फायदे प्रदान करता हैं। इस प्रकार के खाते के कुछ महत्वपूर्ण लाभ निम्नलिखित हैं।
Minimum Balances Maintain – किसी भी अन्य सेविंग अकाउंट की तरह ही जॉइंट अकाउंट में भी न्यूनतम शेष राशि (minimum balances) को रखने की आवश्यकता होती है लेकिन जॉइंट अकाउंट में दो लोगो के बीच यह राशि बंट जाती है और दोनों खाताधारक न्यूनतम शेष राशि न रखने पर लगने वाले जुर्माने से बच जाते है।
Married Couple – नए शादी शुदा जोड़े के लिए जॉइंट अकाउंट बहुत ही फायदेमंद होता है खासतौर से जब वो अपने सैलरी और खर्चो को एक दूसरे के साथ साझा करने में सहज महसूस करते हो।
Senior Citizen – ऐसे वरिष्ठ नागरिक जो अपना बैंक अकाउंट स्वयं संभाल नहीं सकते है उनके लिए जॉइंट अकाउंट बहुत ही बढ़िया विकल्प है। ऐसे वरिष्ठ नागरिक अपने किसी भरोसेमंद पुत्र या करीबी रिश्तेदार के साथ जॉइंट अकाउंट खुलवा सकते है और उनसे अपना अकाउंट संचालन करवा सकते है।
जॉइंट अकाउंट के नुक्सान क्या है?
Minimum Balance Maintain – कई जॉइंट अकाउंट में न्यूनतम शेष राशि (minimum balance) की आवश्यकता होती है, खासकर यदि वे किसी विशेष प्रकार के खाते के लाभों का उपयोग करना चाहते हैं। अगर खाताधारक ने न्यूनतम शेष राशि को अपने अकाउंट में नहीं रखा तो किसी भी अन्य सेविंग अकाउंट की तरह ही इस अकाउंट पर भी बैंक की तरफ से जुर्माना लगाया जाएगा।
Money Inequality – जॉइंट अकाउंट से खाताधारकों के बीच धन की असामनता आ जाती है। उदाहरण के लिए दो खाताधारक एक ही जॉइंट अकाउंट में प्रति माह सामान धन राशि जमा करते है लेकिन दोनों के खर्च करने की आदत अलग है। एक अधिक खर्चीला है और दूसरा पैसे बचाने वाला है।
ऐसे में उस अधिक खर्चीले व्यक्ति की वजह से पैसे बचाने वाले व्यक्ति को भी भुगतना पड़ेगा। इस स्थित में उस दूसरे व्यक्ति के लिए जॉइंट अकाउंट नुकसानदायक है क्योंकि जॉइंट अकाउंट दोनों खाताधारक को समान अधिकार देता है।
Money dispute after death of account holder – अगर किसी जॉइंट अकाउंट होल्डर की मृत्यु हो जाती है तो बाकि के बचे खाताधारकों के बीच पैसे बाँटने को लेकर विवाद हो सकता है और इससे कानूनी लड़ाई भी हो सकती है और जब तक कानूनी लड़ाई से मामला सुलझ नहीं जाता है तब तक कोई भी खाताधारक अकाउंट से पैसे निकाल नहीं सकता है।
Account holders are in illegal activities – अगर जॉइंट अकाउंट होल्डर में से कोई एक भी किसी भी गैर कानूनी काम में शामिल है तो ऐसे में उसका अकाउंट फ्रीज़ हो सकता है जिससे अन्य अकाउंट होल्डर का भी पैसा जॉइंट अकाउंट में फंस जाएगा।
जॉइंट अकाउंट कैसे खोले?
आप जिस भी बैंक में जॉइंट अकाउंट खुलवाना चाहते है आपको उसकी ब्रांच में जाना है। सभी आवेदकों को (जो मिलकर जॉइंट अकाउंट खुलवाना चाहते है) अकाउंट खुलवाते समय ब्रांच में उपस्थित होना अनिवार्य है।
सभी आवेदकों के पास आधार और पैन होना चाहिए। और सभी की आयु 18 वर्ष या इससे अधिक होनी चाहिए।
इसके बाद आपको जॉइंट अकाउंट ओपनिंग फॉर्म भरना है और सभी दस्तावेज लगा कर और हस्ताक्षर करके ब्रांच में सबमिट करना है।
इसके बाद आपका जॉइंट अकाउंट सफलतापूर्वक खुल जाएगा।
FAQs
जॉइंट सेविंग अकाउंट क्या होता है?
जॉइंट अकाउंट दो या दो से अधिक लोगो के द्वारा मिलकर खोला गया अकाउंट है अधिक जानकारी के लिए आप ऊपर आर्टिकल पढ़ सकते है।
जॉइंट खाता खोलने के लिए क्या क्या डॉक्यूमेंट चाहिए?
जॉइंट अकाउंट खोलने के लिए आवेदक के पास आधार कार्ड और पैन कार्ड होना चाहिए।
जॉइंट अकाउंट कितने लोग खोल सकते है?
जॉइंट अकाउंट अधिकतम 4 लोग खोल सकते है।
जॉइंट अकाउंट से पैसे कैसे निकाले?
जॉइंट अकाउंट से सेविंग अकाउंट की तरह ही ब्रांच और एटीएम से पैसे निकाले जाते है।
मुझे कोनसा जॉइंट अकाउंट खोलना चाहिए?
यह पूरी तरह आप पर और आपकी परिस्थिति पर निर्भर करता है जॉइंट अकाउंट के प्रकार पढ़कर आप इसका पता कर सकते है।
उम्मीद है की इस आर्टिकल को पढ़कर आपके जॉइंट अकाउंट को लेकर सभी संदेह दूर हो गए होंगे। और अब आप अच्छे से समझ गए होंगे की जॉइंट अकाउंट क्या होता है। अगर अब भी आपका जॉइंट अकाउंट से सम्बंधित कोई भी सवाल हो तो आप हमे नीचे कमेंट करके पूछ सकते है।